राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने दिल्ली सरकार को नए सिरे से आतंक के आरोप में बाइज्जत बरी हुए आमिर खान को मुआवजे के रूप में 5 लाख रु देने का आदेश दिया हैं.
आयोग ने दिल्ली सरकार को आमिर को मुआवजे का भुगतान करने सबंधी पिछले आदेश की पालना न करने के कारण नॉटिस जारी कर 6 सप्ताह के भीतर आदेश के पालन न करने का जवाब माँगा है. आयोग ने केजरीवाल सरकार को साथ ही भुगतान का भी आदेश दिया हैं.
आमिर दिल्ली पुलिस द्वारा आतंक के 18 आरोपों में 14 साल जेल में बिताने के बाद निर्दोष बरी किया गया हैं. आमिर ने आयोग के तजा आदेश का स्वागत करते हुए कहा कि ये मुआअजा उनकी बर्बाद जिंदगी को बदल तो नहीं सकता हालांकि सुधारने में कुछ मदद कर सकता हैं.
आमिर ने आगे कहा कि जांच एजेंसियों की पक्षपातपूर्ण जांच और कारवाई के कारण जिन मुस्लिम युवाओं की जिंदगी बर्बाद हुई हैं. ऐसे में राज्य सरकार की जिम्मेदारी हैं कि सरकार उनके पुनर्वास के लिए मदद करे. उन्होंने अपने बारें में कहा कि ‘जब में 18 साल का था और शिक्षा के जरिए अपना भविष्य संवार रहा था. ऐसे में मुझे गिरफ्तार (अपहरण) किया गया.
उन्होंने आगे कहा कि उन्हें अब इस आतंक के धब्बे के साथ जिंदगी बिताने के लिए सरकारी नौकरी की जरूरत हैं. उन्होंने बताया कि इसके लिए बरी होने के बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री शीला दीक्षित से मुलाक़ात की थी लेकिन उन्होंने भी कोई ख़ास मदद नहीं की.
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