वीडियो: अज़ान जिसको पूरा करने के लिए होना पढ़ा 22 मुस्लिम नौजवानों को शहीद, जरूर देखें और शेयर करें

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यह ख़ास वीडियो है तो बहुत पुराना मगर यह हमारे लोगों को कुर्वानी को बयान करती है। 1931 का यह मंजर जिसमे कश्मीर सेन्ट्रल जेल के सामने कश्मीरी जमा हुए। जिन डोगरा राज ने बगावत का इल्जाम लगाया था, जिसका वह कश्मीरी मुस्लिम वीरोध कर रहे है।

तभी नमाज़ का वक़्त हो गया, और एक नोजवान उठा और आज़ान देने लगा डोगरा के सिपाहियों ने उसे गोली मार कर मौत के घाट उतार दिया। मगर आज़ान अधूरी रह गई, जिसके बाद दूसरा कश्मीरी नोजवान उठा और आज़ान देना शुरू किया, उस को भी डोगरा के सिपाहियों ने गोली मार कर शहीद कर दिया। फिर आज़ान जहाँ से छूटी उसे पूरा करने तीसरा नोजवान उठा उसे भी डोगरा के सिपाहियों ने शहीद कर दिया

इसके बाद इस आज़ान को मुकम्मल होने 22 नोजवानों के अपनी जान कुर्बान की ओर शहीद हो गए, सर इन लोगों के लिए नमाज़ की हकीकत मालूम थी, जिसे इन लोगों ने अपनी जान देकर हासिल की और आप और हम ? दुनिया में इस्लाम की तारिख की यह वह वाहिद आज़ान है। जिसको पूरा करने में 22 नोजवानों को शहीद किया गया, और आज़ान मुकम्मल की गई।

आप एक बार सोच कर देखिये आज़ान जारी है और एक के बाद एक करके 22 मुसलमान शहीद हो गए,मगर आज इन की शहादत को भुला दिया गया। आज जरुरत है इन कुर्वानी को याद करने का और अपने बच्चो को इस कुर्वानी की हकीकत को समझाने का… ?

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