हादिया की शादी को वैध बता सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट के फैसले को किया रद्द: भक्तों में हडकंप

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केरल के लव जिहाद का हादिया के प्रेम विवाह के मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने अपनी मुहर लगा दी हैं इस मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हादिया को अपनी मर्जी से अपना जीवन जीने का हक़ है वे अपनी जिंदगी से जुड़े फैसले ले सकती है लेकिन सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले हाई कोर्ट ने अपना फैसला दिया था|

इस मामले में है कोर्ट ने हादिया और शफीन की शादी को रद्द कर दिया था जिस पर अब सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला दिया और हाई कोर्ट के फैसले को रद्द कर दिया सुप्रीम कोर्ट के फैसले के अनुसार अब हादिया और शफीन दोनों पति पत्नी के जैसे रह सकते हैं|

मई 2017 में केरल के हाई कोर्ट ने हादिया की शफीन की शादी को रद्द करार देते हुए इन्हे इनके मां-बाप के सुपुर्द कर दिया था जिस पर नाराज होकर शफीन ने इस मामले को सुप्रीम कोर्ट तक ले जाने की दमकी दी मुख्य बात ये है कि केरल में आज लव जिहाद की शिकायते बहुत अधिक हो गई हैं इसलिए इस केस की जांच एनआईए भी कर रही थी|

एनआईए के द्वारा इस केस की जाँच की जा रही हैं ये बात जानकर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जब दो बालिक अपनी मर्जी से शादी कर रहे है तो इनकी जाँच किस हक़ से कर सकते हो तुम लोग, इस मामले पर हादिया के पति शफीन की तरफ से कांग्रेस नेता और वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने बहस की|

सिब्बल भी हाई कोर्ट के फैसले से नाराज थे और कहा कि किसी को भी अपनी मर्जी से अपना जीवन साथी चुनने का हक़ है आखिरकार हाई कोर्ट को कोई हक़ नहीं है कि वे किसी की शादी को रद्द कर दें देश के सभी नागरिकों को भारतीय संविधान ये हक़ देता हैं|

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